जयपुर, राजस्थान। योगपथ फाउंडेशन, जयपुर के तत्वावधान में शक्ति के महापर्व पर एक ऐतिहासिक उपलब्धि दर्ज की गई। फाउंडेशन के संस्थापक एवं अध्यक्ष योगाचार्य सत्यपाल सिंह के नेतृत्व में प्रतिभागियों ने सबसे तेज गति से 108 सूर्य नमस्कार पूर्ण कर ग्रुप वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया।
यह आयोजन रविवार प्रातः 6:00 बजे होटल क्लॉक, आमेर, जयपुर में दीप प्रज्वलन एवं शंखनाद के साथ आरंभ हुआ। सूर्य नमस्कार मंत्रोच्चारण के बीच प्रतिभागियों ने सूर्य की ऊर्जा और योग शक्ति का आह्वान किया। इस वर्ल्ड रिकॉर्ड कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य योग शक्ति को विश्व पटल पर प्रतिष्ठित करना था। यह उपलब्धि योगा बुक ऑफ़ रिकार्ड्स – दुनिया की एकमात्र योग विश्व-कीर्तिमानों को समर्पित रिकॉर्ड बुक – में दर्ज की जाएगी।

17 मिनट में 108 सूर्य नमस्कार – नया विश्व कीर्तिमान
विशेष रूप से उपस्थित योगा बुक ऑफ़ रिकार्ड्स के सीईओ योगगुरु राकेश भारद्वाज ने प्रतिभागियों का उत्साहवर्धन किया और वर्ल्ड रिकॉर्ड गाइडलाइंस का पालन सुनिश्चित करवाया। उनके मार्गदर्शन में प्रतिभागियों ने मात्र 17 मिनट में 108 सूर्य नमस्कार पूर्ण कर पिछला रिकॉर्ड तोड़ते हुए नया इतिहास रचा।
प्रमाणपत्र और सम्मान समारोह
इस अवसर पर योगा बुक ऑफ़ रिकार्ड्स के सीईओ योगगुरु राकेश भारद्वाज ने –
- योगाचार्य सत्यपाल सिंह को संस्था के नाम वर्ल्ड रिकॉर्ड का सर्टिफिकेट
- योगाचार्य रवि प्रकाश शर्मा को कन्वीनर का सर्टिफिकेट
- योगाचार्य प्रभाकर श्रीवास्तव, योगाचार्य अंकित टांक और योगाचार्य नेहा सिंह जादौन को को-कन्वीनर सर्टिफिकेट तथा सभी प्रतिभागियों को गोल्ड मेडल एवं प्रोविजनल सर्टिफिकेट प्रदान कर सम्मानित किया।

परंपरा और आदर का संगम
कार्यक्रम की शुरुआत में योगाचार्य सत्यपाल सिंह ने सीईओ योगगुरु राकेश भारद्वाज को दुपट्टा एवं माल्यार्पण कर सम्मानित किया। इसी प्रकार योगाचार्य प्रभाकर ने योगगुरु मेघ सिंह जी, प्रदेश संयोजक क्रीड़ा भारती राजस्थान का स्वागत कर उन्हें सम्मानित किया।
इसी क्रम में कोगटा फाउंडेशन के प्रतिनिधि आयुष कोगटा का माल्यार्पण कर योगाचार्य रवि प्रकाश ने सम्मान किया। उल्लेखनीय है कि कोगटा फाउंडेशन इस भव्य आयोजन का स्पॉन्सर रहा।
150 से अधिक प्रतिभागियों की भागीदारी
कन्वीनर योगाचार्य रवि प्रकाश ने बताया कि इस आयोजन में लगभग 150 से अधिक प्रतिभागियों ने भाग लिया। इनमें से 70 से अधिक प्रतिभागियों ने निर्धारित समय से पहले ही 108 सूर्य नमस्कार पूर्ण कर अपनी श्रेष्ठता सिद्ध की।



भारतीय संस्कृति का वैश्विक संदेश
इस अवसर पर मेघसिंह चौहान ने इस अद्वितीय आयोजन की सराहना करते हुए इसे राजस्थान की गौरवशाली परंपरा और भारतीय संस्कृति को वैश्विक स्तर पर स्थापित करने वाला कदम बताया।
यह वर्ल्ड रिकॉर्ड न केवल योग साधना की शक्ति का प्रतीक है, बल्कि भारतीय संस्कृति और परंपरा को वैश्विक स्तर पर प्रतिष्ठित करने का संदेश भी देता है।