नई दिल्ली. पीएम मोदी की कीव यात्रा के बीच रूस-यूक्रेन जंग और भी घातक होती जा रही है. दोनों देशों की तरफ से गुरुवार को एक दूसरे पर जमकर हमले किए गए. यूक्रेन की सेना ने दावा किया है कि उसने रूस के कुर्स्क में हमले के दौरान अमेरिका के उपलब्ध कराई गई हाई-प्रिसीजन ग्लाइड बम का इस्तेमाल किया. यूक्रेन का यह भी दावा है रूस द्वारा कब्जाए गए अपने खारकीव के पूर्वी क्षेत्र का बड़ा हिस्सा उसने वापस ले लिया है.
यूक्रेन के वायुसेना कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल मायकोला ओलेशुक ने गुरुवार रात एक वीडियो जारी किया, जिसमें कुर्स्क में रूसी प्लाटून बेस पर हमला होते दिखाया गया है. उन्होंने कहा कि जीबीयू-39 बमों से किये गए हमले में रूसी सेना को भारी नुकसान पहुंचा. वीडियो में कई विस्फोट और घटनास्थल पर धुएं का गुबार उठता हुआ दिखाया गया है. इसके अलावा यूक्रेन की सेना की थर्ड सेपरेट असॉल्ट ब्रिगेड ने गुरुवार देर रात एक बयान में कहा कि उसके सैनिक खारकीव क्षेत्र में लगभग दो वर्ग किलोमीटर तक आगे बढ़ गए हैं. हालांकि यह जानकारी नहीं दी गयी है कि हमला कब किया गया और इसका स्तर क्या था. आक्रमण का क्षेत्र क्या था. यह अनुमान लगाना कठिन है कि इसका युद्धक्षेत्र पर और अधिक प्रभाव पड़ेगा या नहीं.
प्रधानमंत्री मोदी ने जेलेंस्की को भारत आने का न्योता दिया, जिसे उन्होंने स्वीकार भी कर लिया, उन्होंने भारत के रोल की तारीफ करते हुए कहा कि वो भारत में शांति शिखर सम्मेलन के लिए तैयार हैं, लेकिन जेलेंस्की ने रूस से भारत के तेल खरीदने पर सवाल उठाया. सवाल का जवाब देते हुए जेलेंस्की ने कहा कि अगर भारत रूस से तेल खरीदना बंद कर दे, तो युद्ध रुक जाएगा. जेलेंस्की ने ये भी कहा कि भारत को तेल खरीदने के विकल्प पर विचार करना चाहिए.